निगम द्वारा आवारा कुत्तों को पकड़कर डॉग शेल्टर सेंटर में छोड़ने का कार्य किया जा रहा है साथ में लग रहा रैबिज का टीका –
बिलासपुर। नगर निगम शहर में बढ़ते आवारा कुत्तों की संख्या पर नियंत्रण पाने के लिए एक विशेष अभियान चला रहा है। इस अभियान का उद्देश्य शहर में आवारा कुत्तों के प्रजनन को नियंत्रित करना है, ताकि आने वाले समय में कुत्तों की संख्या में कमी आए और इस समस्या से आम जनता की सुरक्षा बढ़ सके। अभियान के तहत नगर निगम की टीम आवारा कुत्तों को पकड़कर डॉग शेल्टर सेंटर में छोड़ने का कार्य कर रही है। वहां इन कुत्तों का ऑपरेशन किया जाता है ताकि उनका प्रजनन रोका जा सके और साथ ही इन कुत्तों को रैबिज का टीका भी लगाया जाता है, जिससे भविष्य में किसी प्रकार के संक्रमण का खतरा न हो। इस अभियान के तहत पकड़े गए कुत्तों को पहले डॉग शेल्टर सेंटर में लाया जाता है, जहां उनका ऑपरेशन किया जाता है। ऑपरेशन के बाद कुत्तों के कान में एक छोटी सी कटिंग की जाती है, ताकि यह पहचाना जा सके कि यह कुत्ता पहले से ऑपरेटेड है और उसे दोबारा नहीं पकड़ा जा सके। यह कदम इसलिए उठाया गया है ताकि बार-बार उन्हीं कुत्तों को पकड़कर डॉग शेल्टर सेंटर न भेजा जाए और नई कुत्तों की संख्या में बढ़ोतरी रोकी जा सके। इस अभियान का एक महत्वपूर्ण पहलू यह भी है कि कुत्तों को रैबिज (पागलपन) का टीका लगाया जाता है, जिससे किसी प्रकार के संक्रमण का खतरा टलता है। इसके अतिरिक्त, अभियान का उद्देश्य यह भी है कि आवारा कुत्तों के कारण नागरिकों को जो परेशानी होती है, उसे कम किया जा सके। यह कुत्तों की बढ़ती संख्या से संबंधित समस्या का एक ठोस समाधान है।
डॉग शेल्टर सेंटर ले जाकर करते हैं ऑपरेशन
स्वास्थ्य अधिकारी अनुपम तिवारी ने बताया कि नगर निगम यह अभियान पिछले दो वर्षों से चला रहा है। जैसे ही उन्हें किसी क्षेत्र से आवारा कुत्तों की समस्या की शिकायत मिलती है, निगम की टीम उस क्षेत्र में जाकर कुत्तों को पकड़कर गोकुलधाम स्थित डॉग शेल्टर सेंटर में में ले जाती है। वहां उनका ऑपरेशन किया जाता है और रेबिज का टीका भी लगाया जाता है। कुत्तों के कानों में एक छोटी सी कटिंग भी की जाती है, ताकि यह पहचाना जा सके कि वह कुत्ता पहले से ऑपरेटेड है और उसे फिर से पकड़ा न जाए। इस प्रक्रिया से कुत्तों के प्रजनन में कमी आती है और उनके स्वास्थ्य की सुरक्षा भी सुनिश्चित होती है।
कुत्तों से परेशान हैं तो इन नंबरों पर करें संपर्क
अगर किसी क्षेत्र में आवारा कुत्तों से परेशानी हो रही है तो उन्हें पकड़ने के लिए नागरिक टोल-फ्री नंबर 1100, नगर निगम के हेल्पलाइन नंबर या स्वास्थ्य अधिकारी के नंबर 7974617896 पर संपर्क कर सकते हैं। इस अभियान का उद्देश्य न केवल शहर में कुत्तों की संख्या को नियंत्रित करना है, बल्कि यह सुनिश्चित करना भी है कि कुत्ते स्वस्थ रहें और किसी प्रकार की बीमारी से बचाव हो सके। नगर निगम के इस अभियान से यह उम्मीद की जा रही है कि धीरे-धीरे शहर में आवारा कुत्तों की समस्या कम होगी और नागरिकों को एक सुरक्षित और स्वस्थ वातावरण मिलेगा। इस तरह के प्रयासों से शहर की साफ-सफाई और सुरक्षा को बेहतर बनाया जा सकता है, जो नगर निगम की प्राथमिकताओं में से एक है।